ड्राइंग रूम में अपने कैकटस सजाते हैं
बूढ़े माँ बाप को घर के बाहर बिठाते हैं
घर में खाना देते कुत्तों को हाथों से
बूढ़े माँ बाप को खाने के लिए तरसाते हैं
सुलाते मखमली गद्दों पे पालतू पिल्लों को
माँ बाप को वृदाश्रम का रास्ता दिखाते हैं
गाली निकालते रहते हर वक़्त देश को
खुद हर काम के लिए घूस खिलाते हैं
स्विस बैंक के खाते फुल नेताओं के
मंहगाई के नाम से ग़रीबों को मरवाते हैं
मरता है सारा दिन ग़रीब रोटी के लिए
नेता जनता के पैसे से घर बनवाते हैं
बूढ़े माँ बाप को घर के बाहर बिठाते हैं
घर में खाना देते कुत्तों को हाथों से
बूढ़े माँ बाप को खाने के लिए तरसाते हैं
सुलाते मखमली गद्दों पे पालतू पिल्लों को
माँ बाप को वृदाश्रम का रास्ता दिखाते हैं
गाली निकालते रहते हर वक़्त देश को
खुद हर काम के लिए घूस खिलाते हैं
स्विस बैंक के खाते फुल नेताओं के
मंहगाई के नाम से ग़रीबों को मरवाते हैं
मरता है सारा दिन ग़रीब रोटी के लिए
नेता जनता के पैसे से घर बनवाते हैं
घर में खाना देते कुत्तों को हाथों से
ReplyDeleteबूढ़े माँ बाप को खाने के लिए तरसाते हैं
सार्थक लेखनी ....सटीक विश्लेषण रिश्तो पर
yahi to samaj ki vidambna hai...
ReplyDeletesarthak post...
ReplyDeleteBilkul sahi likha hai apne,,
ReplyDeletesarthak rachna,
jai hind jai bharatBilkul sahi likha hai apne,,
sarthak rachna,
jai hind jai bharat
यथार्थ को कहती ... संवेदनशील रचना ..कहीं कहीं अति हो जाती है .
ReplyDeleteकृपया टिप्पणी बॉक्स से वर्ड वेरिफिकेशन हटा लें ...टिप्पणीकर्ता को सरलता होगी ...
वर्ड वेरिफिकेशन हटाने के लिए
डैशबोर्ड > सेटिंग्स > कमेंट्स > वर्ड वेरिफिकेशन को नो करें ..सेव करें ..बस हो गया .
बहुत सुन्दर रचना , बहुत खूबसूरत प्रस्तुति आभार
ReplyDeleteवाकई दुर्भाग्यपूर्ण है ...कुत्ते बिल्लियों पर प्यार लुटाने वाले माँ बाप को भूल जाते हैं !
ReplyDeleteसंवेदनशील मन की अभिव्यक्ति !
यथार्थ का सटीक चित्रण ।
ReplyDeleteThis is a really excellent read for me. Must agree that you are one of the coolest bloggers.
ReplyDeleteweb hosting india
रक्षाबंधन एवं स्वतंत्रता दिवस पर्वों की हार्दिक शुभकामनाएं .
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