Saturday, June 1, 2013

1.तू मुझे ताने न दे करके जुदाई का जिक्र ,
 कौन सी सांस है जो तेरे बिना आती है

2.ये मचलना तेरा बेबात बहुत भाता है "ज्योति " 
अब किसी और की चाहत ही कहाँ है मुझे

3.मेरी साँसों में बसा है बस नाम तेरा "ज्योति".
 बे-वफ़ा फिर भी मुझे बेखबर तुम कहते हो

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